मन जैसा कुछ..

मन तो बहुत करता है ..

कहने को.. करने को ..

देखने को..सुनने को.. 

मिलता नहीं मन जैसा कुछ..

मन जैसा कुछ कहां मिलेगा??

किसी को पता हो तो..

वो रास्ता बता दे..

कुछ है क्या मन जैसा ..

किसी की बातों में..

है तो अगर वो.. 

मुझे आवाज़ लगा दे..








5 comments:

  1. करे वही जो मन करें
    औरों की न सहन करें
    मात पिता को जिससे हो ख़ुशी
    बस वही बस वही जतन करें
    🙏😍🙏

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  2. जो मन में आए उसे लिख कर मन को हल्का कर लेना चाहिए। आपके विचार अच्छे हैं, लिखते रहिए।

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    1. धन्यवाद आपका..आपकी प्रेरणा से लिखते अवश्य रहेंगे..

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ओझल तन मन...जीवन.. हम तुम केवल बंधे बंधे.. हम राही केवल, नहीं हमराही...

ओझल तन मन...जीवन.. हम तुम केवल बंधे बंधे.. हम राही केवल, नहीं हमराही... चले आते हैं, चले जाते हैं... सुबह शाम बिन कहे सुने.. न हाथों का मेल....